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70 घंटे काम: क्या यह आपके स्वास्थ्य को खतरे में डाल सकता है{29-10-2023}

सप्ताह में ’70 घंटे काम’: नारायण मूर्ति के बयान पर सोशल मीडिया में उत्तराधिकार और हृदय विशेषज्ञ की चेतावनी:-

 

सप्ताह में 70 घंटे काम
सप्ताह में 70 घंटे काम

Work Week: ‘फिर कहते हैं हाई अटैक क्यों आ रहे’, सप्ताह में 70 घंटे काम पर हृदय रोग विशेषज्ञ ने कही यह बात
नारायण मूर्ति के सप्ताह में 70 घंटे काम वाले बयान पर सोशल मीडिया में बहस छिड़ गई है। इसी बीच हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. दीपक कृष्णमूर्ति ने कहा, फिर लोग पूछते हैं कि आखिर युवाओं को हार्ट अटैक ज्यादा क्यों आ रहे हैं।

Narayan Murthy, N.R.

 

इंफोसिस के संस्थापक नारायण मूर्ति के एक सुझाव ने लोगों में हलचल मचा दी है। उनके बयान पर सोशल मीडिया में तमाम प्रतिक्रियाएं आने लगी हैं। देश में कार्य उत्पादकता को बढ़ावा देने के लिए भारत के युवाओं को हर हफ्ते 70 घंटे काम करना चाहिए वाले बयान को जेएसडब्ल्यू अध्यक्ष सज्जन जिंदल समेत कई लोगों का समर्थन मिला है। लेकिन इस मुद्दें पर चिकित्सकों की राय पूरी तरह से अलग है। सोशल मीडिया में एक पोस्ट करते हुए डॉ. कृष्णमूर्ति ने एक औसत पेशेवर के काम और अन्य प्रतिबद्धताओं के बीच दिन को विभाजित करने में बिताए गए समय का विवरण दिया।

 

 

सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया:-

इंफोसिस के संस्थापक नारायण मूर्ति के बयान पर सोशल मीडिया में बहस छिड़ गई है। कई उद्योगपतियों ने उनके कार्य सप्ताह वाले बयान का समर्थन किया है। वहीं कई लोगों ने उनकी कड़ी आलोचना की है। साथ ही कई सोशल मीडिया यूजर्स ने उनके इस बयान को अमानवीय करार दिया। शुक्रवार को बंगलूरू स्थित हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. दीपक कृष्णमूर्ति ने भी इस मुद्दे पर विचार किया और अनुचित कार्य घंटों वाले कार्य शेड्यूल के दीर्घकालिक स्वास्थ्य प्रभावों का खुलासा किया।

 

सोशल मीडिया

 

हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. दीपक कृष्णमू्र्ति का दावा:-

सोशल मीडिया पर हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. कृष्णमूर्ति ने एक औसत पेशेवर द्वारा दिन में काम और अन्य प्रतिबद्धताओं के बीच बांटने में कितना समय लगता है पर खुलकर चर्चा की। उन्होंने लिखा, इस तरह के अमानवीय कामकाजी घंटे हृदय संबंधी कई गंभीर बीमारियों को जन्म दे सकता है।

 

उन्होंने पोस्ट में लिखा, एक दिन में 24 घंटे होते हैं। अगर आप 12 घंटे प्रति दिन के हिसाब से सप्ताह में 6 दिन काम करते है। तो बचे 12 घंटे में से 8 घंटे नींद में जाएंगे। शेष बचे 4 घंटे में अन्य दैनिक क्रियाकलापों में व्यस्त रहेंगे। ऐसे में तो युवाओं के पास मिलने-जुलने, परिवार के साथ बात करने का समय, व्यायाम करने का समय, मनोरंजन का समय ही नहीं रहेगा। यह बताने की जरूरत नहीं है कि कंपनियां लोगों से काम के घंटों के बाद भी ईमेल और कॉल का जवाब देने की अपेक्षा करती हैं। फिर आश्चर्यचकित होकर सवाल उठाते हैं कि आखिर युवाओं को ज्यादा हार्टअटैक क्यों आ रहे हैं।

नारायण मूर्ति का क्या था बयान:-

एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए इंफोसिस के संस्थापक नारायण मूर्ति ने सुझाव दिया था कि देश में कार्य उत्पादकता को बढ़ावा देने के लिए भारत के युवाओं को हर हफ्ते 70 घंटे काम करना चाहिए। जिसके बाद से ही लोगों की तमाम प्रतिक्रियाएं सामने आने लगी। उनके इस बयान की कोई समर्थन तो कोई आलोचना कर रहा है।

यह भी पढ़े:-

“हरियाणा में डेंगू के D2 टाइप वायरस की आगमन: 7 जिलों में बढ़ती परेशानी; संक्रमितों की संख्या बढ़कर 5 हजार पार, अगले 15 दिन में अधिक सतर्कता जरूरी”

हरियाणा वर्तमान में एक बड़ी स्वास्थ्य संकट का सामना कर रहा है। डेंगू के D2 टाइप वायरस की पहली बार प्रवेश की खबर आ रही है, जिससे राज्य के 7 जिलों में स्वास्थ्य हालात खराब हो रहे हैं। संक्रमित लोगों की संख्या तेजी से बढ़ रही है और 5 हजार पार कर चुकी है। विशेषज्ञों का मानना है कि अगले 15 दिन के दौरान स्थिति और भी खराब हो सकती है।

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हरियाणा सरकार और स्वास्थ्य विभाग ने लोगों से सतर्क रहने और उचित सावधानियां अपनाने का अनुरोध किया है। लोगों को सलाह दी गई है कि वे ज्यादा समय तक बाहर न जाएं, स्थायी जल स्रोतों को सूखा रखें और मच्छरों से बचाव के लिए उचित उपाय क

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